Saturday, November 22, 2014

जब ईख हमारे यहाँ होती थी।




कलम से____

जब ईख हमारे यहाँ होती थी
गन्ने लाल रंग के होते थे
खाने में स्वादिष्ट बड़े होते थे
भट्टी जब चलती थी
रस पीने को
राव खाने को मिलती
गुड़ की भेली बनती थी
गन्ने की खेती अब नहीं होती
हमें हमारे गाँव की याद बहुत आती है.....

Control diabetes.

//सुरेन्द्रपालसिंह © 2014//

  http://spsinghamaur.blogspot.in/

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